पटना। बिहार की राजनीति में एक ऐतिहासिक क्षण दर्ज हुआ है। जेडीयू अध्यक्ष श्री नीतीश कुमार ने 10वीं बार मुख्यमंत्री पद की शपथ ली, जिससे वे देश के उन चुनिंदा नेताओं में शामिल हो गए हैं जिन्होंने सबसे अधिक बार राज्य की कमान संभाली है।
शपथ ग्रहण समारोह पटना के गांधी मैदान में भव्य तरीके से आयोजित किया गया, जहां राजनीतिक जगत की दिग्गज हस्तियों की मौजूदगी ने कार्यक्रम को और भी खास बना दिया। समारोह में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृहमंत्री अमित शाह, केंद्रीय मंत्रिमंडल के वरिष्ठ सदस्य, कई राज्यों के मुख्यमंत्री, सांसद, विधायक और बड़ी संख्या में समर्थक उपस्थित रहे।
कार्यक्रम के दौरान पूरे गांधी मैदान में सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए थे। मंच पर औपचारिकता पूरी होने के साथ ही जैसे ही नीतीश कुमार ने पद और गोपनीयता की शपथ ली, पूरा मैदान तालियों से गूंज उठा। इस मौके को राज्य के लिए “स्थिरता और विकास के नए अध्याय” की शुरुआत के रूप में देखा जा रहा है।
नीतीश कुमार के 10वें कार्यकाल से राजनीतिक विश्लेषक कई तरह के संकेत देख रहे हैं —
- राज्य में उनकी पकड़ और मजबूत होने का संकेत
- केंद्र और राज्य के बीच बेहतर तालमेल की उम्मीद
- विकास परियोजनाओं के तेजी से आगे बढ़ने की संभावना
जेडीयू नेताओं और कार्यकर्ताओं में जबरदस्त उत्साह दिखाई दिया। वहीं, एनडीए के सहयोगी दलों ने भी इस ऐतिहासिक पल को “बिहार के भविष्य के लिए सकारात्मक संकेत” बताया।
बिहार की जनता ने एक बार फिर अनुभव, नेतृत्व और स्थिरता पर भरोसा जताया है।
अब सबकी नजरें नई सरकार के आगामी फैसलों और विकास योजनाओं पर टिकी हैं।